धोरीमन्ना। लाखो की आबादी एक भी सार्वजनिक शौचालय नहीं

"प्रशासन की बेपरवाही आई नजर"

"व्यापारियों व् ग्रामीणो को लघुशंका के लिए नहीं है जगह"

 धोरीमन्ना। थार नगरी बाड़मेर की धोरीमन्ना पंचायत समिति जो अब तहसील एवं उपखण्ड बन चूका है जो कि किसी भी दृष्टिकोण से देखने पर अग्रणी नजर आता है। यह राष्ट्रिय राजमार्ग संख्या15 पर स्थित है। जहा प्रतिदिन लाखो की संख्या में लोगो का आना जाना होता है। यहाँ पर दर्जनो भर उच्च स्तर की शिक्षण संस्थाए महाविद्यालय कई निजी व् सरकारी अस्पताल होने एवं आसपास के पचासो ग्रामपंचायतों का मध्य केंद्र होने से यहाँ पर रोजाना खरीद फरोख्त व् कागजी कामकाज एवं अध्ययन हेतु ग्रामीणो का आना होता है। लेकिन शंका की बात यह है। की पुरे कस्बे में लघुशंका के लिए एक भी सार्वजनिक शौचालय नहीं है। जिसकी वजह से यहाँ के व्यापारीजगत मरीजों व् ग्रामीणो को खुले में पेशाब करना पड़ता है जो की शर्मशार वाली बात है क्योंकि राजस्थान सरकार यह घोषणा कर रही है की जिस कर्मचारी के घर शौचालय नहीं उसकी वेतन वृद्धि नहीं होगी तथा जनप्रतिनिधि के घर शौचालय नहीं होने पर चुनाव नहीं लड़ सकेगा विभाग कहता है हमने हर स्तर पर स्वच्छ वातावरण की कोशिश की है । लेकिन सवाल ऐसे है कि खुद से ही जवाब खोजते रहते हैं। यह धोरीमन्ना पंचायत समिति शौचालय को लेकर तस्वीर कुछ अलग बया करती हैं। कई योजनाएं चल रही है। लेकिन यहां भी जागरूकता का अभाव देखने को मिल रहा है. गांव-पंचायत के लोग विशेषकर महिलाएं परेशान हैं। किससे कहे, कैसे कहे? हालाँकि ग्रामपंचायत द्वारा २-३ साल पहले पंचायत समिति के अंदर मुख्य दरवाजे के पास खाली पड़े कोने में पेशाबघर बनवाए थे। जिसको भी बाद में तोड़ दिया गया है फिर भी लोग उसी जगह का प्रयोग कर रहे है जिससे पंचायत समिति प्रांगण में गंदगी व् दुर्गन्ध फैली रहती है गर्मिणो एवं दुकानदारो ने कई बार प्रशासन से सार्वजनिक शौचालय बनवाने की मांग की है लेकिन प्रशासन ने इस और कोई ध्यान नहीं दिया है।      

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